बिहार में क्यों उठ रही है शराबबंदी कानून की समीक्षा की मांग?
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बिहार में मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक पूर्वी चंपारण जिले के पांच थाना क्षेत्रों में जहरीली शराब से अप्रैल महीने में के तीसरे सप्ताह में कम-से-कम 30 लोगों की मौत हुई. इसके पहले December 2022 में सारण जिले और इसके पड़ोस में हए जहरीली शराब कांड में कम-से-कम 40 लोगों की मौत हुई थी.
बिहार में रह-रह कर होने वाली ऐसी घटनाएं बताती हैं कि बिहार में शराबबंदी का एक समय चक्र पूरा हो चुका है. एक तरफ सरकार शराबबंदी कानून का और कड़ाई से पालन सुनिश्चित करने की बात दोहराती है तो दूसरी ओर विपक्ष इसकी समीक्षा से लेकर या इसे खत्म किए जाने की भी मांग करता है।
बात-मुलाकात के इस एपिसोड में होस्ट मनीष शांडिल्य शराबबंदी के कई परिदृश्य से आपको रूबरू करवायेंगे। इस एपिसोड में ये सीनियर जर्नलिस्ट सोरूर अहमद, भाजपा प्रवक्ता निखिल आनंद, जदयू प्रवक्ता नीरज कुमार और सामाजिक-राजनीतिक विश्लेषक महेंद्र सुमन से बात करके शराब बंदी के पुरे परिप्रेक्ष्य को समझने की कोशिश करेंगे।
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