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Page de couverture de Democracy से डर, Secularism की सीमा, Hindu की Anxiety और Mob की Beauty: पढ़ाकू नितिन

Democracy से डर, Secularism की सीमा, Hindu की Anxiety और Mob की Beauty: पढ़ाकू नितिन

Democracy से डर, Secularism की सीमा, Hindu की Anxiety और Mob की Beauty: पढ़ाकू नितिन

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हज़ारों सालों से इंसान कबीलों, सल्तनतों और अब राष्ट्र-राज्य में जी रहा है. लेकिन सवाल वही है सबसे सही शासन व्यवस्था कौन-सी है? राज्य कानून और संस्थाओं का ढांचा है, जबकि राष्ट्र पहचान और भावनाओं का जाल, अक्सर हम दोनों को गड़बड़ा देते हैं. फिर आता है लोकतंत्र जो बराबरी और आवाज़ का वादा करता है, लेकिन साथ ही populism और polarisation भी लाता है. तो क्या लोकतंत्र ही सबसे बेहतर विकल्प है या कोई और मॉडल उससे आगे निकल सकता है? इन्हीं सवालों पर बातचीत होगी JNU के असोसिएट प्रोफ़ेसर अजय गुडावर्ती से, सुनिए 'पढ़ाकू नितिन' में.

Disclaimer: इस पॉडकास्ट में व्यक्त किए गए विचार एक्सपर्ट के निजी हैं
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